Saturday, December 3, 2016

*जो मुस्कुरा रहा है,*
*उसे दर्द ने पाला होगा...,*
*जो चल रहा है,*
*उसके पाँव में छाला होगा...,*
*बिना संघर्ष के इन्सान*
*चमक नहीं सकता, यारों...,*
*जो जलेगा उसी दिये में तो,*
*उजाला होगा...।*

*उदास होने के लिए उम्र पड़ी है,*
*नज़र उठाओ सामने ज़िंदगी खड़ी है*

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