छिपकलीयों का हुनर
तो देखो,
बड़ी होशियारी से रात के अँधेरे में,
मोटे मोटे कीड़ो को हज़म कर लेती है,
और सुबह होते ही......
.
.
.
अपने गुनाहों को छिपाने के लिए,
किसी महापुरुष की तस्वीर के पीछे
छिप जाती है..
तो देखो,
बड़ी होशियारी से रात के अँधेरे में,
मोटे मोटे कीड़ो को हज़म कर लेती है,
और सुबह होते ही......
.
.
.
अपने गुनाहों को छिपाने के लिए,
किसी महापुरुष की तस्वीर के पीछे
छिप जाती है..
posted from Bloggeroid
No comments:
Post a Comment