पीपल के पत्तों जैसा मत बनो,
जो वक्त आने पर सूख कर गिर जाते है।
बनना है तो मेहँदी के पत्तों जैसा बनो,
जो पिस कर भी दूसरों की जिंदगी में रंग भर देते हैं.
जो वक्त आने पर सूख कर गिर जाते है।
बनना है तो मेहँदी के पत्तों जैसा बनो,
जो पिस कर भी दूसरों की जिंदगी में रंग भर देते हैं.
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